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Moving Average इंडिकेटर क्या होता है?

Moving Average इंडिकेटर क्या होता है?

Swing Trading क्या है - स्विंग ट्रेडिंग कैसे करें?

Swing Trading क्या है? इसे कैसे करे? अगर आप भी यह जानना चाहते हैं। तो आज हम आपको इस लेख में swing trading के बारे में अधिक से अधिक जानकारी देने का प्रयास करुगा। आज अगर आप भी पार्ट टाइम ट्रेडिंग करना चाहते हैं तो स्विंग ट्रेडिंग आपके लिए एक अच्छा विकल्प हो सकता है।

इसमें कमाएं गए छोटे छोटे प्रॉफिट आपको साल के अंत में एक अच्छा रिटर्न देता है। आयिये तो फिर पहले जानते हैं कि स्विंग ट्रेडिंग क्या होता है?

Swing Trading क्या है? - Swing Trading In Hindi

Swing Trading एक ऐसी ट्रेडिंग रणनीति है। जहा पर ट्रेडर्स शेयर को एक दिन से ज्यादा के लिए खरीदते हैं और थोड़े समय तक होल्ड करने के बाद बेच Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? देते हैं। ट्रेडर्स शेयर को थोड़े दिनों तक इसी उम्मीद से होल्ड करते हैं ताकि उन्हें कुछ प्रॉफिट हो सके। आमतौर पर यह समय कुछ दिन या कुछ हफ्ते हो सकते हैं।

Swing Traders किसी भी स्टॉक का संभावित स्विंग का एक हिस्से को कैप्चर करने की कोशिश करता है। यानी मतलब यह हुआ कि एक स्विंग ट्रेडर बाजार या किसी भी स्टॉक के प्राइस का एक तरफा मूवमेंट को कैप्चर करने की कोशिश करता है। बाजार या स्टॉक का एक तरफा मूवमेंट को इसी उम्मीद से कैप्चर करने की कोशिश करता है कि उसे कुछ परसेंट का प्रॉफिट होगा। लेकिन अगर बाजार ठीक उसके उलट चला जाता है तो स्विंग ट्रेडर्स अपने नुकसान को बुक करने के बाद मार्केट से बाहर निकल जाता है। स्विंग ट्रेडिंग में हासिल किए गए छोटे छोटे मूवमेंट का लाभ वार्षिक में एक अच्छा रिटर्न बन जाता है।

एक अच्छा स्विंग ट्रेडर opportunity को ढूंढने के लिए टेक्निकल एनालिसिस और कभी कभी फंडामेंटल एनालिसिस का उपयोग करता है। साथ Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? ही चार्ट के माध्यम से market trend और patterns का विश्लेषण करता है।

Swing Trading कैसे काम करती है?

Swing Trader किसी भी स्टॉक को खरीदने से पहले मार्केट का ट्रेंड, शेयर कि कीमत में उतार-चढ़ाव, ट्रेडिंग चार्ट में बनने वाले पैटर्न का विश्लेषण करता है। आमतौर पर swing traders लार्ज-कैप शेयरों यानी कि उन शेयरों पर विश्लेषण करते हैं जिसमें ट्रेडिंग अधिक होती है।

अन्य प्रकार के ट्रेडिंग से ज्यादा swing trading में risk ज्यादा होता है। इसमें आमतौर से gap risk शामिल होता है। यदि मार्केट के बंद होने के बाद कोई अच्छी खबर आती हैं तो स्टॉक के प्राइस मार्केट खुलने के बाद अचानक बढ़ जाते हैं। ठीक इसका उल्टा भी हो सकता है। मार्केट के बंद होने के बाद कोई बुरी खबर आती हैं। तो मार्केट खुलने के बाद स्टॉक के प्राइस में भारी गैप डाउन देखने को मिलता हैं। इस तरह के रिस्क को overnight risk कहा जाता है।

स्विंग ट्रेडिंग के फायदे क्या है? - Advantages Of Swing Trading In Hindi

अन्य ट्रेडिंग प्रकार की तरह swing trading के भी कुछ फायदे और नुकसान होते है। आइए पहले स्विंग ट्रेडिंग के advantages जानते हैं।

1. स्विंग ट्रेडिंग में स्टॉक को कुछ दिनों या कुछ हफ्ते तक होल्ड किया जाता है। इसलिए Intraday के मुकाबले लाइव मार्केट में ज्यादा समय रहने की जरूरत नहीं होती है।

2. Swing Trading, ट्रेडर्स को बाजार के sideways होने पर एक अच्छा रिटर्न देता है।

3. स्विंग ट्रेडिंग उन लोगो के लिए सबसे अच्छा है जो जॉब या बिज़नेस करते हैं। यानी कि स्विंग ट्रेडिंग को पार्ट टाइम किया जा सकता है।

4. Intraday के मुकाबले, स्विंग ट्रेडिंग में स्ट्रेस लेवेल कम होता है।

5. स्विंग ट्रेडिंग में छोटे छोटे रिटर्न्स वार्षिक में एक अच्छा रिटर्न बन जाता है।

6. Intraday के मुकाबले स्विंग ट्रेडिंग आसान होती हैं। आपको सिर्फ टेक्निकल एनालिसिस आना चाहिए।

7. स्विंग ट्रेडिंग में डे ट्रेडिंग के मुकाबले कम noisy होता है।

स्विंग ट्रेडिंग के नुकसान क्या है? - Disadvantages Of Swing Trading In Hindi

1. स्विंग ट्रेडिंग में overnight और वीकेंड रिस्क शामिल रहेता है।

2. मार्केट का अगर किसी तरह से अचानक ट्रेंड बदल जाता है तो यहां काफी नुकसान हो सकता है।

3. स्विंग ट्रेडिंग में गैप रिस्क शामिल रहता है।

4. डे ट्रेडिंग के मुकाबले स्विंग ट्रेडिंग में रिटर्न्स कम मिलता है।

स्विंग ट्रेडिंग स्ट्रेटजी क्या है? - Swing Trading Strategy In Hindi

अभी तक आपने स्विंग ट्रेडिंग के बारे में बारीकी से अध्ययन किया है। अब हम आपको swing trading के को कैसे किया जाता है इसे करने के लिए कौन कौन सी strategy को आप सीख सकते हैं। इसके बारे में जानकारी दूंगा। तो फिर आइए जानते हैं।

स्विंग ट्रेडिंग के लिए स्ट्रेटजी बनाने के लिए ट्रेडर्स कई प्रकार के इंडिकेटर्स और चार्ट पैटर्न का इस्तेमाल करते हैं। उनमें से कुछ पॉपुलर चार्ट पैटर्न और इंडिकेटर के बारे में नीचे बताया गया है।

Chart Patterns

  • Head & Shoulder Patterns
  • Cup & Handle Patterns
  • Candlestick Patterns
  • Triangle Patterns
  • Double Top & Double Bottom Patterns
  • Flag Patterns
  • Triple Top & Triple Bottom Patterns

Indicators

  • Simple Moving Average
  • Exponential Moving Average
  • Bollinger Band
  • RSI (Relative Strength Index)
  • MACD (Moving Average Convergence Divergence)
  • Moving Average Crossover
  • Pivot Support & Resistance
  • Fibonacci Retracement
  • VWAP (Volume Weighted Average Price)
  • Stochastics
  • SuperTrend

Swing Trading Strategy Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? उपयोग करने का क्या फायदा होता है?

1. Swing Trading में अधिक फायदा या नुकसान होने की संभावना रहती है। यह स्ट्रेटजी स्विंग ट्रेडर्स को intraday में होने वाले उथल पुथल से Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? दूर रखती है।

2. स्विंग ट्रेडिंग स्ट्रेटेजी ट्रेडर्स का बढ़े ट्रेड पर ध्यान केंद्रित करती है।

3. ट्रेडिंग स्ट्रेटेजी आपको बाजार में एंट्री और पोजिशन को square off करने का सही समय बताने की कोशिश करता है।

4. टेक्निकल पर आधारित होने के कारण आप स्पष्ट निर्णय ले सकते हैं।

निष्कर्ष

Swing Traders बाजार में अलग अलग तरीकों की स्ट्रेटेजी का प्रयोग करते हैं। यह सभी बताए गए चार्ट पैटर्न Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? और इंडिकेटर्स आपको अपनी खुद की भी स्ट्रेटेजी बनाने में मदद करेगी। आप चाहे तो दो या इसे अधिक इंडिकेटर्स को मिलाकर एक स्ट्रॉन्ग स्ट्रेटेजी बना सकते हैं। अंत में यह याद रखना कि कोई भी स्ट्रेटेजी आपको 100% एक्यूरेट रिजल्ट नहीं दे सकता है। मेरे द्वारा लिखी गई यह पोस्ट सिर्फ आपको Swing trading kya hai? के बारे में विस्तार से जानकारी देने कि कोशिश की गई है। उम्मीद करता हूं कि यह पोस्ट आपको कुछ इंफॉर्मेशन जानकारी दे पाई होगी।

BEST EIGLE STOCKS कैसे FIND करे

अधिकांश लोग PENNY STOCKS में अपना पैसा निवेश कर देते है क्यूंकि उनका भाव सस्ता होता है और एक व्यक्ति उसमे अधिक शेयर की मात्रा भी खरीद सकता है लेकिन अधिकांश लोगो को PENNY STOCKS में मुनाफे की जगह नुकसान ही हुआ है । कुछ लोग BLUECHIP STOCKSGROWTH STOCKS में भी निवेश करते है हालाँकि इन स्टॉक्स में निवेश करने से नुकसान बहुत ही कम होता है लेकिन इनमे हमे लम्बी अवधि के लिए निवेश करना पड़ता है।

आखिरकार प्रश्न ये उठता है की किन शेयर में निवेश करे ताकि कम समय में अधिक मुनाफा कमाया जा सके इसके लिए लोग विभ्भिन प्रश्न पूछते है जैसे शेयर बाजार में किस स्टॉक में ट्रेड करे शेयर बाजार में मुनाफा कमाने की रणनीति क्या है आदि

शेयर बाजार में EIGLE STOCKS FIND करने की प्रकिया

1. PRICE ACTION

किसी भी शेयर में PRICE ACTION देखना बहुत ही जरूरी है। एक शेयर में होने वाली मंदी और तेजी को PRICE के माध्यम से आसानी से देखा जा सकता है शेयर बाजार में अधिकांश लोग प्राइस एक्शन के माध्यम से ही शेयर में ट्रेड लेते है PRICE ACTION शेयर बाजार का एक बहुत ही बड़ा विषय है

एक शेयर में हम निम्न तरीको से प्राइस एक्शन को देख सकते है

1. PREVIOUS DAY BREAKOUT

प्रीवियस डे ब्रेकआउट इंट्राडे ट्रेडिंग के लिए बहुत ही उपयोगी है अगर कोई शेयर अपने प्रीवियस डे के प्राइस को ब्रेक आउट कर नए प्राइस पर क्लोजिंग करता है तो हम इस क्लोजिंग की गतिविधि के आधार पर ट्रेड ले सकते है

2. WEEKLY / MONTHLY BREAKOUT

शार्ट टर्म ट्रेडिंग के लिए वीकली व मंथली प्राइस ब्रेक आउट बहुत ही महत्वपूर्ण है वीकली ब्रेक आउट में शेयर अपने पिछले पिछले सप्ताह के प्राइस को ब्रेक आउट कर नई प्राइस पर क्लोजिंग करता है जबकि मंथली ब्रेकऑउट में शेयर अपने पिछले महीने के प्राइस को ब्रेकऑउट कर नई प्राइस पर क्लोजिंग करता है।

3. 52 WEEK BREAKOUT

प्राइस एक्शन में 52 WEEK ब्रेक आउट एक महत्वपूर्ण ब्रेक आउट है ये दो प्रकार का होता है 52 WEEK HIGH ब्रेक आउट और दूसरा 52 WEEK LOW ब्रेकआउट। अगर Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? एक शेयर 52 WEEK HIGH से ब्रेकआउट देता है तो शेयर में तेजी आने के संकेत है लेकिन अगर शेयर 52 WEEK LOW से ब्रेकआउट देता है तो शेयर में मंदी आने के संकेत है।

4. 2 YEARS AND 5 YEAR BREAKOUT

अगर एक शेयर 2 YEARS HIGH या 5 YEARS HIGH से ब्रेक आउट दे रहा है तो शेयर में लम्बी अवधि तक तेजी आने के संकेत है 2 YEARS HIGH5 YEARS HIGH ब्रेकआउट प्राइस एक्शन में सबसे अधिक महत्व पूर्ण है।

2. VOLUME AND DELIVERY

VOLUME AND DELIVERY के आधार पर किसी भी शेयर में ट्रेड लिया जा सकता है एक शेयर में किसी बड़े निवेशक के प्रवेश को केवल वॉल्यूम के माध्यम से ही देखा जा सकता है अगर लगातार किसी शेयर में वॉल्यूम और डेलिवेरी बढ़ रही है तो शेयर शेयर में तेजी आने के संकेत है।

जब भी किसी शेयर में ब्रेकआउट होता है व ब्रेकआउट वॉल्यूम और डिलीवरी के साथ होता है तो ऐसा ब्रेकआउट ट्रू ब्रेकआउट माना जाता है।

अगर शेयर के प्राइस को वॉल्यूम व डिलीवरी के साथ देखा जाये तो शेयर के चलन को आसानी से समझा जा सकता है।

3. MOMENTUM INDICATORS

मोमेंटम इंडियकटर्स के माध्यम से शेयर में होने वाले मोमेंट पता लगाया जा सकता है शेयर बाजार में मुनाफा कमाने के लिए ऐसा ही शेयर निवेश करना आव्सय्क है जिनमे मोमेंट हो। अगर किसी शेयर में मोमेंट नहीं है तो उसमे समय Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? और पैसा निवेश करने का कोई अर्थ नहीं है।

मोमेंटम इंडीकेटर्स के दो प्रकार है -

1. RELATIVE STRENGTH INDEX ( RSI )

रिलेटिव स्ट्रेंथ इंडेक्स इंडिकेटर का उपयोग टेक्निकल एनालिसिस में अधिक किया जाता है RSI किसी भी शेयर की प्राइस मॉवेन्ट के आधार पर शेयर शेयर की गति और परिवतर्न को दर्शाता है शेयर की स्ट्रेंथ को दर्शाने के लिए RSI 0 -100 की रेंज के मध्य औसीलेट करता है। अगर RSI 70 से ऊपर है तो शेयर को ओवरबॉट माना जाएगा और अगर 30 के नीचे है तो शेयर में ओवरसोल्ड की स्थिति मानी जाएगी।

RSI अगर लंबे समय से 70 से ऊपर है तो ये शेयर में खरीदारी की स्थिति को दर्शाता है। अगर RSI 70 तक आता है एवम पुने ऊपर चला जाता है तो ये किसी भी शेयर के बुलिश होने का संकेत देता है जबकि RSI 70 क्रॉस करके लगातार नीचे आता है तो इसका अर्थ है शेयर में ट्रेंड रिवर्स हो गया है।

जबकि RSI अगर लंबे समय से 30 के नीचे है तो ये शेयर में बिकवाली की स्थिति को दर्शाता है। अगर RSI 30 तक आता है एवम पुने निचे चला जाता है तो ये किसी भी शेयर के बेयरिश होने का संकेत देता है जबकि RSI 30 क्रॉस करके लगातार ऊपर आता है तो इसका अर्थ है शेयर में ट्रेंड रिवर्स हो गया है।

अलग अलग टाइम फ्रेम के अनुसार RSI भी अलग अलग होता है RSI को किसी भी टाइम फ्रेम मे देखा जा सकता है अगर RSI दीर्घकालीन स्तिथि में 70 से ऊपर है तो ये शेयर के लम्बी समय तक बुलिश रहने की स्तिथि को दर्शाता है।

2. MACD ( MOVING AVERAGE CONVERGENCE DIVERGENCE )

MACD ( एमएसीडी ) इंडिकेटर एक ट्रेंडफोलोविंग और मोमेंटम इंडिकेटर है जिसका इन्वेंशन 1979 में Gerald Appel ने किया था, MACD ( एमएसीडी ) का फुल फॉर्म Moving Average Convergence Divergence है। MACD ( एमएसीडी ) आज भी एक विश्वशनीय इंडिकेटर है जो इंट्राडे ट्रेडर्स को ट्रडिंगे डिसीजन लेने में काफी मदद करता है।

MACD ( एमएसीडी ) एक प्राइस बेस्ड इंडिकेटर है। जो शेयर की कीमतों में हुए परिवर्तन को मूविंग एवरेज की सहायता से प्रदर्शित करता है।

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HELLO FRIENDS आज आप जानेंगे एक ऐसा टेक्निकल इंडिकेटर के बारे में जिसके बिना स्टॉक मार्किट में ट्रेडिंग करना लग भाग सम्भब नहीं है। यह इंडिकेटर इनता महत्वा रखता है की आप सोच भी नहीं पाएंगे ये इतना महत्वपूर्ण है क्यों की ये टेक्निकल इंडिकेटर ट्रैंड बताती है कोई शेयर बुलिश ट्रैंड है या बेयरिश ट्रैंड है और यह टेक्निकल इंडिकेटर है मूविंग एवरेज (MOVING AVERAGE) मूविंग एवरेज मतलब पिछले दिनके शेयर की दाम को एक एवरेज में बताना। उदाहण के स्वरुप मान लीजिये आज टाटा स्टील कंपनी की शेयर की दाम 500 रूपया है और यह शेयर की दाम इसे ऊपर जायेगा या नीचे कैसे पत्ता करे यहां से अंदाज़ लगाना सुरु हो जाती है अगर शेयर की प्राइस पिछले 20 दिनों की प्राइस से ऊपर है या नीचे। अगर ऊपर है तो हो सकता है ऊपर जाये अगर नीचे है तो हो सकता प्राइस नीचे जाये यही एवरेज प्राइस को मूविंग एवरेज बताती है जिसे हमें पता चले शेयर की प्राइस 20 मूविंग एवरेज से ऊपर है या नीचे। मूविंग एवरेज 20 से ऊपर है मतलब अभी शेयर की प्राइस पिछले 20 दिन के प्राइस से ऊपर है और यह शेयर ऊपर जा सकती है। ऐसे ही हर कोई ट्रेडर अलग अलग दिनों की एवरेज प्राइस निकल के ट्रेड करते हैं। जैसे 50 ,100 ,150 ,200 दिनों की एवरेज निकल ते हैं। यहाँ पर ध्यान रखने बाली बिषय है एक महीना में 30 -31 दिन होते हैं लेकिन ट्रेडिंग दिन लगभग 22 दिन क्यों की शनिबार और रबिबार शेयर मार्किट छूटी रहती है फिर हर महीना कोई भी तेव्हार के बजाये से 1 -2 दिन छूटी रहती है ऐसे में हमलोग एक महीना में लग भाग 20 ट्रेडिंग डे की एवरेज लेते हैं। इसलिए 20 मूविंग एवरेज को हम एक महीना की ट्रेड लेके चलेंगे ऐसे ही आप लोग कैलकुलेशन करेंगे। 5 मूविंग एवरेज मतलब एक हपता की ट्रेडिंग दिन 50 मूविंग एवरेज मतलब 2.5 महीना की ट्रेडिंग दिन।
मूविंग एवरेज यानि सिंपल मूविंग Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? एवरेज जिसे हर कोई SMA के नाम से जानते हैं। आप देखेंगे 20 SMA ,50 SMA बहुत सरे जगह पर बताये हुए। 20 SMA मतलब 20 दिनों की एवरेज प्राइस 50 SMA मतलब 50 दिनों की एवरेज प्राइस को बताया जाता है। सिंपल मूविंग एवरेज एक लेगिंग इंडिकेटर है इसका मतलब पहले प्राइस एक्शन हो जाने के बाद ये इंडिकेटर इंडीकेट करती है मतलब बताती है। मूविंग एवरेज को शेयर सिलेक्शन के लिए इस्तिमाल होती है और लाइव मार्किट में शेयर प्राइस की ट्रैंड जानने के लिए इस्तिमाल करते हैं।

जैसे की आप लोग देख पा रहे हैं ये जो लाल रंग की लाइन है वह 20 SMA है और नीले रंग की जो लाइन देख रहे हैं वह 50 SMA है। मूविंग एवरेज जितना ज्यादा काम होगी वह शेयर Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? प्राइस की उतना ही करीब रहेगी। आर जितना ज्यादा बड़ा होगी शेयर प्राइस से उतना ही दुरी होगी। मूविंग एवरेज दो तरके की है एक सिंपल मूविंग एवरेज और दूसरा एक्सपोनेंशियल मूविंग एवरेज।

शेयर मार्केट का चार्ट कैसे देखते है? How To Read The Chart Of Share Market?

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साथियों, यह प्रश्न अक्सर नए निवेशकों द्वारा पूछा जाता है जो हाल में Share Market में Entry ले ली है पर उसके बारे में मुझे ज्यादा जानकारी नहीं है की शेयर मार्केट का चार्ट कैसे देखें? उन्हें इसके बारे में पता नहीं होता है कि किस तरह से चार्ट को रीड करें और उसमें निवेश करें। अगर देखा जाए तो चार्ट को समझना बहुत ही आवश्यक है। क्योंकि चार्ट को बिना समझे निवेश करना बिना युद्ध कला के ज्ञान के किसी बड़े योद्धा से लड़ने के बराबर है। इसीलिए शेयर मार्केट में निवेश करने के लिए आप कुछ शेयर मार्केट को समझना बहुत जरूरी है। इसके बारे में बात करेंगे।

शेयर मार्केट का चार्ट कैसे देखते है? How To Read The Chart Of Share Market?

शेयर बाजार का चार्ट देखने के लिए और समझने के लिए सबसे महत्वपूर्ण यह है कि आपको एक ऐसा प्लेटफार्म चाहिए जहां पर चार्ट को अच्छे से Present किया जाए क्योंकि चार्ट को Read करने से पहले आपके पास वह चार्ट होना बहुत ही आवश्यक है। इसके बाद जब आपके पास चार्ट उपलब्ध है तो आप चार्ट के छोटे इकाई कैंडल को समझना शुरू कीजिए। जब आपको कैंडल समझ में आ जाए और यह भी समझ में आ जाए कि किस तरह से चाट बनता है तो टेक्निकल एनालिसिस का इस्तेमाल करके चार्ट को एनालाइज करना शुरू कीजिए की चार्ट किसी Specific Point से ऊपर जाएगा या फिर नीचे। इन सभी चीजों के बारे में हमने नीचे स्टेप में बताया है, जिसे आप अच्छे से पढ़ सकते हैं।

शेयर मार्केट का चार्ट कैसे देखते है?

Chart देखने के लिए प्लेटफार्म: शेयर मार्केट का चार्ट देखने के लिए आपको सबसे पहले कोई ऐसा प्लेटफार्म चाहिए जहां पर आप चार्ट Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? देख पाए। मैं जो प्लेटफार्म यूज करता हूं और आप सभी को भी रेकमेंड करता हूं वह है tradingview.com यहां पर आप बहुत ही अच्छे तरह से चार्ट को देख पाएंगे और एनालाइज कर पाएंगे।

कैंडल को समझना: आप यह जरूर जानते होंगे की किसी चार्ट को पढ़ने से पहले हमें कैंडल को समझना बहुत ही जरूरी है क्योंकि कैंडल चार्ट की सबसे छोटी Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? इकाई है। छोटे-छोटे कैंडल को मिलाकर एक चार्ट का निर्माण होता है। आपको यह बता दे कि कैंडल दो तरह की होती है- 1. Bullish Candle 2. Bearish Candle

Bullish Candle: बुलिश कैंडल सामान्यतः हरी और सफेद रंग की होती है, यह तेजी को दर्शाती है, इसके चार प्रमुख भाग होते हैं Open, Close, Low & High.

Bearish Candle: बियरिश कैंडल सामान्यतः लाल और काली रंग की होती है, यह मंदी को दर्शाती है, इसके चार प्रमुख भाग होते हैं Open, Close, Low & High.

Candlestick Pattern: जब आप कैंडल के बारे में अच्छे से जान और समझ लेते है तो अब आप कैंडलस्टिक पैटर्न के बारे सीखना बहुत आवश्यक है। कैंडलस्टिक पैटर्न बहुत तरह के होते है इसका प्रयोग कर आप शेयर में सबसे पहले एंट्र, एग्जिट, स्टॉपलॉस और टारगेट का अनुमान लगा सकते है।

Major Reversal Patterns: जब आप चार्ट के बारे में बेसिक तरह से रीड करना आ जाये चार्ट अलग अलग टाइम फ्रेम में मेजर रेवेर्सल पैटर्न ढूंढ़ सकते है। इसमें प्रमुख रूप से हेड एंड शोल्डर्स पैटर्न, इनवर्स हेड एंड शोल्डर्स पैटर्न, डबल टॉप और डबल बॉटम पैटर्न आते है।

Continuation Pattern: इस चार्ट पैटर्न में same ट्रेंड को continue किया जाता है। इसमें मुख्य रूप से ट्रैंगुलर, रेक्टंगुलर और फ्लैग एंड पोल चार्ट पैटर्न आते है।

Moving Average: यह एक अच्छा इंडिकेटर है जो अपने पिछले चाल का एवरेज को दर्शाता है। इसमें 50 मूविंग एवरेज, 200 मूविंग एवरेज प्रमुख है।

ऊपर दी गई सभी जानकारियों के आधार पर आप शेयर मार्केट में चार्ट का एनालिसिस कर पाएंगे। इसके लिए प्रमुख रूप से Moving Average इंडिकेटर क्या होता है? आपको बहुत ही ज्यादा प्रैक्टिस की जरूरत होती है। इसमें हमने कुछ प्रमुख चीजों के बारे में बात किया है। जब आप इतना सीख लेते हैं तो इसके बाद आप चार्ट का एनालिसिस आसानी से कर पाएंगे।

शेयर बाज़ार का चार्ट किस तरह देखते है? FAQ

आर्टिकल के इस भाग में हम कुछ इस आर्टिकल से जुड़ी महत्वपूर्ण सवालों के जवाब जो कुछ नए Investors के मन में अक्षर चल रहे होते है जिसका जवाब मैंने निचे निम्नलिखित प्रकार दर्ज किया है।

क्या शेयर मार्केट से पैसा कमाना संभव है?

Ans. हाँ, परन्तु इसके लिए आपको शेयर को एनालाइज करने का टेक्निकल तथा फंडामेंटल तरीका सीखना होगा।

शेयर बाजार का Chart देखने के लिए कौन से प्लेटफार्म का उपयोग करें?

Ans. Basically, शेयर बाज़ार का Chart देखने के लिए Trending View.in Website का उपयोग करके हम आसानी से शेयर मार्किट का Chart देख सकते है।

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मेरा नाम Prabhat Kumar Sharma हैं। मुझे लिखना बहुत पसंद है और मुझे Share Market, Cryptocurrency और Business की बहुत अच्छी और गहरी जानकारी है। मैं इस Blog के माध्यम से इस टॉपिक से जुड़े आपके कठिन से कठिन प्रश्नो को एक बेहतरीन और आसान तरीके से लिखकर बताने का प्रयास करता हूँ।

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